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दक्षिण-पश्चिम मानसून के गुजरात, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र और बिहार के कुछ हिस्सों से अगले 2-3 दिनों में वापस लौटने के लिए अनुकूल परिस्थितियां बनी हुई हैं। देश अब मानसून के बाद के मौसम में प्रवेश कर रहा है, जिससे शुष्क मौसम की शुरुआत होगी।
जाने मौसम प्रणाली weather system:
वर्तमान में पूर्वी-मध्य अरब सागर और इसके आस-पास के लक्षद्वीप क्षेत्र पर एक निम्न दबाव क्षेत्र बना हुआ है। अगले 3-4 दिनों में इसके उत्तर-पश्चिम दिशा में बढ़ने और मध्य अरब सागर के ऊपर एक डिप्रेशन में बदलने की संभावना है। इसके अलावा, एक ट्रफ रेखा कोमोरिन क्षेत्र से उत्तरी कोंकण तट तक फैली हुई है, जो इस निम्न दबाव क्षेत्र से संबंधित चक्रीय परिसंचरण के साथ मिलकर मौसम को प्रभावित कर रही है। पूर्वी असम और श्रीलंका के आस-पास के क्षेत्रों में भी चक्रीय परिसंचरण की उपस्थिति दर्ज की गई है, जो निम्न और मध्यम क्षोभमंडलीय स्तरों पर प्रभाव डाल रही है।
कोंकण और गोवा में अगले सप्ताह हल्की से मध्यम वर्षा की संभावना है। इसके अलावा, महाराष्ट्र के अन्य हिस्सों में भी कहीं-कहीं हल्की से मध्यम वर्षा हो सकती है। कोंकण और गोवा तथा मध्य महाराष्ट्र में 10 से 12 अक्टूबर के बीच कुछ स्थानों पर भारी वर्षा होने की संभावना है, जिससे इन क्षेत्रों में मौसम की स्थिति अधिक चुनौतीपूर्ण हो सकती है।
इन क्षेत्रों में अगले सप्ताह के दौरान कोई महत्वपूर्ण वर्षा होने की संभावना नहीं है, जिससे शुष्क मौसम बना रहेगा। किसानों के लिए यह एक राहत की स्थिति हो सकती है, क्योंकि उन्हें इस दौरान अपनी फसलों की देखभाल करने और कृषि गतिविधियों को व्यवस्थित करने का अवसर मिलेगा।
IMD ने असम, अरुणाचल प्रदेश, मेघालय, गोवा, मध्य महाराष्ट्र, केरल में आज का मौसम, तमिलनाडु, पुडुचेरी, लक्षद्वीप और तटीय कर्नाटक के कुछ हिस्सों में 10 अक्टूबर को भारी वर्षा की संभावना है। इसके साथ ही, तेलंगाना के कुछ क्षेत्रों में आंधी और तेज हवाएं (30-40 किमी प्रति घंटे की गति से) चलने की संभावना है, जिससे मौसम की स्थिति चुनौतीपूर्ण हो सकती है। इसके अलावा, पूर्वी मध्य प्रदेश, विदर्भ, छत्तीसगढ़, कोंकण, मध्य महाराष्ट्र, मराठवाड़ा, गुजरात और तमिलनाडु सहित अन्य क्षेत्रों में बिजली गिरने की संभावना है।
तमिलनाडु में 12 से 14 अक्टूबर के बीच भारी से बहुत भारी वर्षा की संभावना है, जिसके चलते किसानों को धान की नर्सरी से अतिरिक्त पानी निकालने और परिपक्व बाजरा की फसल की कटाई स्थगित करने की सलाह दी गई है। इसी तरह, केरल और माहे में 12 और 13 अक्टूबर को भारी वर्षा की संभावना है, जिससे खेतों और बागवानी फसलों की सुरक्षा के लिए अतिरिक्त सावधानी बरतने की आवश्यकता है।
गोवा, मध्य महाराष्ट्र, केरल, लक्षद्वीप, तटीय कर्नाटक और पूर्वोत्तर के कुछ हिस्सों में किसानों को खेतों से अतिरिक्त पानी निकालने और बागवानी फसलों को यांत्रिक सहारा देने की सलाह दी गई है। कटाई की गई फसलों को सुरक्षित स्थानों पर रखने और तेज हवाओं से होने वाले नुकसान से बचाने के लिए किसानों को विशेष उपाय करने चाहिए।
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