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मध्यप्रदेश में कृषि और फूड प्रोसेसिंग निवेश को बढ़ावा, नए अवसरों पर जोर, केन्द्रीय कृषि मंत्री श्री चौहान

कृषि और फूड प्रोसेसिंग निवेश पर ज़ोर
कृषि और फूड प्रोसेसिंग निवेश पर ज़ोर

इनवेस्ट मध्यप्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2025 में "सीड टू सेल्फ: इन्वेस्टमेंट अपॉर्च्युनिटी इन एमपी एग्री-फूड एण्ड डेयरी सेक्टर" सत्र के दौरान केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि मध्यप्रदेश में निवेश की अपार संभावनाएँ हैं। राज्य एक लाख हेक्टेयर लैण्ड बैंक रखने वाला देश का पहला राज्य है, जिससे कृषि और फूड प्रोसेसिंग क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा मिलेगा।

फूड प्रोसेसिंग से किसानों को होगा लाभ:

मंत्री ने बताया कि मध्यप्रदेश टमाटर, प्याज, लहसुन, गेहूं, चावल और मिर्च उत्पादन में अग्रणी है, लेकिन किसानों को उनकी उपज का सही मूल्य नहीं मिल पाता। इसलिए फूड प्रोसेसिंग पर जोर देना जरूरी है, जिससे फसलों का वैल्यू एडिशन होगा और किसान अधिक लाभ कमा सकेंगे।

राज्य सरकार के प्रयास:

  1. "एक जिला-एक उत्पाद" योजना के तहत 52 जिलों में विशिष्ट फसलें चिन्हित।
  2. सिंगल विंडो प्रणाली के तहत भूमि आवंटन और अनुमतियों की प्रक्रिया आसान।
  3. फूड पार्क, कृषि प्रोसेसिंग क्लस्टर और लॉजिस्टिक पार्क विकसित किए जा रहे हैं।
  4. मसाला, फल, डेयरी और औषधीय फसलों पर विशेष ध्यान।

नवाचार और तकनीकी निवेश पर चर्चा: विशेषज्ञों ने फार्म-टू-मार्केट, पोस्ट-हॉर्वेस्ट मैनेजमेंट, मार्केट ट्रेंड्स और टेक्नोलॉजी इंटरवेंशन पर चर्चा की। डाबर, आईटीसी, पेप्सिको और एनडीडीबी जैसी कंपनियों ने निवेश और किसानों को वित्तीय सहायता बढ़ाने पर जोर दिया।

राज्य की कृषि और आर्थिक उन्नति की ओर कदम: इस समिट ने कृषि, डेयरी और खाद्य प्रसंस्करण में निवेश के नए अवसरों को बढ़ावा देते हुए मध्यप्रदेश की आर्थिक प्रगति को गति देने का मार्ग प्रशस्त किया।

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